सिने पहेली –99
‘सिने पहेली’ के सभी प्रतियोगियों व पाठकों को सुजॉय चटर्जी का प्यार भरा नमस्कार! दोस्तों, आज ‘सिने पहेली’ का 99-वाँ अंक है और हम अपनी मंज़िल के बहुत ही करीब आ गये हैं। आज और अगली कड़ी के साथ दस सेगमेण्ट्स का यह सुहाना सफ़र समाप्त हो जायेगा और हमें मिल जायेंगे ‘महाविजेता’ बनने के महामुक़ाबले के पाँच महारथी। दोस्तों, इस महासफ़र में हमने आप से न जाने कितनी तरह की पहेलियाँ पूछीं हैं, और आप सब ने हर पहेली का समाधान ढूंढ ही निकाला, और यह साबित किया कि मेहनत, लगन और सूझ-बूझ से काम लें तो किसी भी पहेली को सुलझाया जा सकता है। इससे हमें अपनी ज़िन्दगी के लिए भी यही शिक्षा मिलती है कि मुश्किल की घड़ी में समझदारी, मेहनत और धैर्य से काम लेने पर हर उलझन, हर मुश्किल पर विजय प्राप्त किया जा सकता है। चलिए अब शुरू करते हैं आज की पहेली।
आज की पहेली में हम आप के सामने रखेंगे कुछ संवाद जिन्हें कलाकारों ने या तो गीतों के बीच कहे हैं, या फिर इन संवादों को कविता या महज़ संवादों के रूप में ही फिल्म के गीतों के ऐल्बम में शामिल किया गया है। इन संवादों को देख कर आपको उन गीतों और/या फिल्मों को पहचानने हैं। हर सही जवाब के लिए आपको 2 अंक दिये जायेंगे। तो ये रहे वो पाँच संवाद।
1. “मैं मुसव्वीर, दिल तसव्वुर, और हो तसवीर तुम, मेरी ख़्वाबों की नज़र आती हो बस ताबीर तुम”।
2. “पटने का हूँ मगर पटने वाला नहीं, मेरा पीछा छोड़, जो करना है वो कर”।
3. “आँखों में तुम, यादों में तुम, सांसों में तुम, आहों में तुम, नींदों में तुम, ख़्वाबों में तुम”।
4. “प्यार अगर एक शख्स का भी मिल सके बड़ी चीज़ है ज़िन्दगी के लिए, आदमी को मगर यह भी मिलता नहीं”।
5. “अनकही, अनसुनी आरज़ू आधी सोयी हुई आधी जागी हुई, आँखें मलती हुई देखती है, लहर दर लहर मौज दर मौज बहती हुई ज़िन्दगी, जैसे हर पल नई और फिर भी वही…”
अपने जवाब आप हमें cine.paheli@yahoo.com पर 6 फ़रवरी शाम 5 बजे तक ज़रूर भेज दीजिये।
1. मास्टर मोहम्मद
2. ख़ान मस्ताना
3. “जहाँ डाल डाल पर सोने की चिड़िया करती है बसेरा” (सिकन्दर-ए-आज़म)
4. मोहन गोखले, सुरेन्द्र राजन, बेन किंग्सले, दर्शन जरीवाला, दिलीप प्रभावलकर
इस बार कुल 6 प्रतियोगियों ने पहेली को सुलझाने की कोशिशें की। सबसे पहले 100% सही जवाब देकर ‘सरताज प्रतियोगी’ बने हैं, फिर एक बार, लखनऊ के श्री प्रकाश गोविन्द। बहुत बहुत बधाई आपको प्रकाश जी! नियमित प्रतियोगी विजय जी, पंकज जी, और चन्द्रकान्त जी के अलावा इस बार इन्दु जी और राजेश जी ने भी प्रतियोगिता में भाग लिया। आइए नज़र डालें सम्मिलित स्कोर कार्ड पर…
और अब महाविजेता स्कोर-कार्ड पर भी एक नज़र डाल लेते हैं।
इस सेगमेण्ट की समाप्ति पर जिन पाँच प्रतियोगियों के ‘महाविजेता स्कोर कार्ड’ पर सबसे ज़्यादा अंक होंगे, वो ही पाँच खिलाड़ी केवल खेलेंगे ‘सिने पहेली’ का महामुकाबला और इसी महामुकाबले से निर्धारित होगा ‘सिने पहेली महाविजेता’।
एक ज़रूरी सूचना:
तो आज बस इतना ही, नये साल में फिर मुलाक़ात होगी ‘सिने पहेली’ में। लेकिन ‘रेडियो प्लेबैक इण्डिया’ के अन्य स्तंभ आपके लिए पेश होते रहेंगे हर रोज़। तो बने रहिये हमारे साथ और सुलझाते रहिये अपनी ज़िंदगी की पहेलियों के साथ-साथ ‘सिने पहेली’ भी, अनुमति चाहूँगा, नमस्कार!